राधे माँ खुद को बताती है दुर्गा, आत्माओं से करती है बात

राधे माँ

Share Now

राधे माँ खुद को दुर्गा बता चुकी है। वह आत्माओं से बात करने का दावा करती है, लेकिन इनका सुर्खियों में रहना आम बात हो गई है। इनसे जुड़े विवादों में से कुछ बातें ये हैं। वह एक सीधी सी १०वीं पास पंजाबन लड़की थी। १८ साल की उम्र में इनकी शादी हो गई थी, परन्तु स्वयं को देवी बताने वाली खुद को दुर्गा भी बता चुकी है। आत्माओं से बात करने का दावा भी करती है राधे माँ, लेकिन अब इनका सुर्खियों में रहना आम बात हो गई है।

विवाह के बाद खुद को देवी बताने वाली विवादास्पद और ग्लैमरस धर्मगुरु राधे माँ बन गई। दो अगस्त, २०१२ को जूना अखाड़े के आचार्य महामंडलेश्वर अवधशानंद गिरी जी ने गुरु पूर्णिमा पर अनुष्ठानों के बीच राधे माँ को महामंडलेश्वर की पदवी दी। इस अलंकरण समारोह को गुप्त रखा गया था। महामंडलेश्वर की पदवी मिलने के अगले ही दिन राधे माँ मुंबई चली गई थीं।

इसके बाद उन्हें पदवी दिए जाने पर कई सवाल उठे। जांच के लिए राधे माँ के आध्यात्मिक गुरु स्वामी पंचनद के नेतृत्व में एक ११ सदस्यीय जांच समिति बनी। समिति ने राधे माँ के जीवन से जुड़े विभिन्न स्थानों पर जाकर जांच की। इसके बाद उन्हें महामंडलेश्वर की पदवी से निलंबित कर दिया गया था।

राधे माँ अपने सत्संग के दौरान खुद को देवी दुर्गा की एक अवतार के तौर पर चित्रित करने के लिए वैसा ही वेश बनाती थी। इस पर विरोध के स्वर तेज होने लगे। २००३-०४ में फगवाड़ा में एक हिंदू संगठन ने देवी दुर्गा की अवतार के रूप में राधे माँ के चित्रण पर आपत्ति जताई और आंदोलन छेड़ा तो राधे माँ को पर माफी मांगनी पड़ी थी।

द्वारिकापीठ के शंकराचार्य स्वामी स्वरूपानंद सरस्वती ने राधे माँ को नासिक कुंभ मेले में औपचारिक शाही स्नान में हिस्सा लेने से रोका। एक बार वे जूते पहनकर हरकी पौड़ी पर गंगा पूजा करने आ गईं थी। राधे माँ का एक वीडियो भी वायरल हुआ था,​ जिसमें वह मिनी स्कर्ट पहनकर डांस करती नजर आ रही हैं।

उत्तरप्रदेश के संभल में श्री कल्कि महोत्सव में जब पॉप सिंगर राम शंकर ने यारो सब दुआ करो… गीत सुनाया तो राधे माँ भी झूम उठीं। वे अपनी सीट से खड़ी होकर मंच पर ही थिरकने लगीं। इतना ही नहीं, मंच से नीचे उतरकर अपने भक्तों के बीच में भी वे खूब नाचीं। इस बात को लेकर भी काफी विवाद हुआ था।

राधे माँ पर उनके भक्त एमएम मिठाईवाला के मालिक मनमोहन गुप्ता ने बंगला हड़पने की कोशिश का आरोप लगाया है। राधे माँ पर उनकी भक्त एक्ट्रेस डॉली बिंद्रा ने भी आरोप लगाए हैं। राधे माँ के खिलाफ कई केस दर्ज हैं, जिनकी जांच चल रही है। अब वे दिल्ली में एसएचओ की कुर्सी पर बैठने को लेकर सुर्खियों में हैं।

राधे मां एक बार फिर सुर्खियों में है। इस बार उन्होंने ऐसा कारनामा कर दिया कि पुलिस विभाग भी चौंक गया। वे थाने में पहुंची और एसएचओ की कुर्सी पर बैठ गईं। दिल्ली के विवेक विहार ​थाने में राधे मां ने यह काम किया। एक तस्वीर सामने आई है, इसमें एसएचओ साहब भी वर्दी पहने, मां की चुनरी ओढ़े हाथ जोड़कर खड़े दिखाई दे रहे हैं। यह तस्वीर अष्टमी के दिन की बताई जा रही है।

ये पंजाब के एक हलवाई के बेटे की बहू थी। राधे मां उर्फ गुड़िया उर्फ सुखविंदर कौर का जन्म १९६४ में गांव दोरांगला (गुरदासपुर) में हुआ था। जब सुखविंदर कौर १८ साल की थी तो उनका विवाह करम सिंह हलवाई के बेटे मोहन सिंह के साथ हो गया। मोहन सिंह ने कुछ समय मिठाई की दुकान की और फिर दोहा कतर चला गया। पति का विदेश जाना राधे मां उर्फ सुखविंदर कौर के जीवन में एक महत्वपूर्ण मोड़ था।

इस दौरान उसने कपड़े भी सिले और जल्द ही अध्यात्म की दिशा में मुड़ गई। २३ साल की उम्र में सुखविंदर मुकेरियां में डेरा परमहंस बाग के महंत रामाधीन दास की शिष्या बन गई। महंत ने उसे आध्यात्मिक दीक्षा दी और राधे माँ के रूप में नया नाम दिया। आज उनके लाखों फोलोअर्स हैं। वे अपने अनोखे पहरावे को लेकर चर्चा में रहती हैं। नया नाम मिलने के बाद वह सत्संग करने लगी और खानपुर में मां भगवती मंदिर राधे मां का आध्यात्मिक केंद्र बन गया।

लोग कहते हैं कि इस तरह के सत्संग के दौरान वह अपने भक्तों को वरदान देती थी जिससे उनके संकट दूर रहते थे। ऐसा ही एक आशीर्वाद राधे मां ने मुंबई के एक भक्त को दिया और उसका कोई गंभीर मसला हल हो गया। वही भक्त राधे मां को मुंबई ले गया। इसके बाद वह नियमित रूप से मुकेरियां आती रहीं। अब राधे मां मुंबई में अपनी आध्यात्मिक बैठकों में व्यस्त हो गई और पति और दो बेटों के साथ मुंबई में ही रहना शुरू कर दिया।

तब से राधे मां का मुकेरियां आना कम हो गया। अंतिम बार वह पिछले साल राम नवमी पर मुकेरियां आई थीं। मुकेरियां के पास राष्ट्रीय राजमार्ग पर खानपुर में राधे मां का आध्यात्मिक निवास मां भगवती मंदिर है। मंदिर में उनकी बहन अपने परिवार के साथ रहती हैं और मंदिर की देखरेख करती हैं। भक्तों के बीच सुखविंदर कौर के पति को पिता का दर्जा मिला हुआ है और उन्हें “डैडी जी” कहा जाता है।

राधे की बहन को भक्त रज्जी मासी और उनके पति को मासड़ जी कह कर संबोधित करते हैं। राधे मां की भाभी बलविंदर कौर की हत्या के मामले में उनके भाई और पिता को सजा भी हो चुकी है। बलविंदर कौर के भाई जगतार सिंह ने गांव नानोनंगल में पिछले साल आरोप लगाया था कि राधे मां के दो भाई और पिता ने उनकी बहन की हत्या की थी, जिन्होंने १०-१० साल की सजा काटी। एक बार राधे मां ने अपनी भाभी बलविंदर को इतना धमकाया था कि वह बेहोश ही गई थीं।

एक बार राधे मां ने अपनी भाभी बलविंदर को इतना धमकाया था कि वह बेहोश ही गई थीं। दो अगस्त, 2012 को जूना अखाड़े के आचार्य महामंडलेश्वर अवधशानंद गिरी जी ने गुरु पूर्णिमा पर अनुष्ठानों के बीच राधे मां को महामंडलेश्वर की पदवी दी। इस अलंकरण समारोह को गुप्त रखा गया था और अखाड़े के अंदरूनी सूत्रों के अनुसार, महामंडलेश्वर पदवी मिलने के अगले ही दिन राधे मां मुंबई चली गई थीं। इसके बाद उन्हें पदवी दिए जाने पर कई सवाल उठे।

14 thoughts on “राधे माँ खुद को बताती है दुर्गा, आत्माओं से करती है बात”

  1. I was very happy to discover this website. I want to to thank you for your time for this wonderful read!! I definitely appreciated every bit of it and I have you book marked to check out new things on your blog.

  2. Hello! Would you mind if I share your blog with my zynga group? There’s a lot of people that I think would really enjoy your content. Please let me know. Thank you

  3. Забота о недвижимости – это забота о вашем комфорте. Теплосберегающая облицовка – это не только стильный внешний вид, но и обеспечение теплового комфорта в вашем уютном уголке. Наш коллектив, бригада мастеров, предлагаем вам сделать ваш дом в идеальный уголок для проживания.
    Наши проекты – это не просто теплоизоляция, это художественная работа с каждым элементом. Мы разрабатываем идеальному балансу между красотой и практичностью, чтобы ваш дом преобразился не только теплым и стильным, но и шикарным.
    И самое существенное – приемлемая цена! Мы уверены, что качественные услуги не должны быть дорогим удовольствием. Утепление дома цена за квадратный метр работа начинается всего по цене от 1250 рублей за квадрат.
    Инновационные технологии и материалы высокого стандарта позволяют нам создавать теплоизоляцию, которая долго служит и надежна. Прощайте холодным стенам и дополнительным тратам на отопление – наше утепление станет вашим надежным препятствием перед холодом.
    Подробнее на интернет-ресурсе
    Не откладывайте на потом заботу о благополучии в вашем доме. Обращайтесь к специалистам, и ваш дом преобразится настоящим художественным творением, которое принесет вам тепло и удовлетворение. Вместе мы создадим комфортабельное жилье, где вам будет по-настоящему комфортно!

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *